Shivpuri news:150 करोड़ खर्च करने के बाद भी शहर में जल संघर्ष

शिवपुरी। जिले में जब से सिंध का पानी शिवपुरी शहर में आया है तब से शहर में पानी को लेकर कुछ हद तक राहत मिल गई थी। परंतु जैसे ही गर्मी अपने रौद्र रूप में दिखाई देने लगी,दोशियान कंपनी की पूरी पोल खुल गई। जिस गुणवत्ता पर शिवपुरी की मीडिया लगातार सबाल खडे कर रही थी तब प्रशासन को यह घटिया काम दिखाई नहीं दे रहा था। परंतु अब जब पानी को लेकर शहर में हाहाकार मचने लगा तक मंत्री यशोधरा राजे को यह मामला समझ आया और उन्होने तत्काल पानी की किल्लत को लेकर अधिकारियों की जमकर क्लास ली।

शहर के हालातों की बात करे तो यह हालात है कि पानी को लेकर शहर के लोग अब फिर सडकों पर दिखाई देने लगे है। शहर में बीते 15 दिन में सिंध 4 जगह से डैमेज हो गई। जिसके चलते शहर में पानी की आपूर्ति निरंतर नहीं हो पा रही। जिसे लेकर विरोध के स्वर सोशल मीडिया पर भी दिखाई देने लगे। सोशल मीडिया पर एक यूजर ने पानी की किल्लत को लेकर नपा को घेरते हुए कहा है कि नपा टैंकर की सप्लाई बंद होने से परेशान है। मोनू जैन नामक यूजर ने लिखा है कि करोड़ों रुपए का बजट अब ठिकाने लगाने के लिए टैंकर चालू करने की तैयारी के चलते इसे डेमेज किया जा रहा है।

अब अगर शहर के हालातों की बात करें तो पूरे शहर में पानी के लिए हाहाकार मचा हुआ है। करोड़ों रूपए खर्च कर स्वीकृत हुई मड़ीखेड़ा परियोजना से पानी लाने का प्रयास भी लोगों को लाभ नहीं पहुंचा पा रहा है। लोग आज भी पानी की कट्टी लिए दर—दर भटकते देखे जा रहे हैं। पानी के चक्कर में लोगों की दिनचर्या भी बिगड गई है। पानी के लिए लडाई—झगडे भी होने लगी है।

कोई साइकिल से तो कोई हाथ ठेला व आटो से पानी की व्यवस्था कर रहा है लेकिन शासन व प्रशासन इस ओर कोई ध्यान नहीं दे रहा हैं शिवपुरी में पानी की भयाभय स्थिति बन चुकी है। वहीं पानी के लिए बच्चे भी भटक रहे हैं। नपा के पायवेट टैंकर बंद है जिसके चलते पूरा शहर अब प्रायवेट टैंकर के भरौसे पर आ गया है। पहले जो प्रायवेट टैंकर शहर में 250 रूपए में मिल रहा था वह अब 800 से 1 हजार रूपए में मिल रहा है वह भी नंबर लगाने के एक दिन बाद।

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