शिवपुरी। शिवपुरी में लगने वाला सिद्धेश्वर बाणगंगा मेला पिछले दो साल से तो कोरोना संक्रमण के चलते नहीं लग पा रहा था, लेकिन इस साल यह मेला दुकानदारों और ठेकेदार के बीच चल रहे विवाद की भेंट चढ़ सकता है। एक ओर जहां नगर पालिका ने झूले वालों को नोटिस थमा कर एफआईआर की तैयारी कर ली है तो मेले के दुकानदारों ने टेंडर की शर्तों को आधार बनाते हुए कोर्ट जाने की तैयारी। कुल मिलाकर यह विवाद दिन व दिन जिस तरह से बढ़ता जा रहा है, उसे देख इस बात की आशंका बढ़ गई है कि कहीं पूरा मेला विवाद की भेंट न चढ़ जाए।
उल्लेखनीय है कि सिद्धेश्वर मेला ग्राउंड में लगने वाला मेला इस बार नगर पालिका ने स्वयं लगाने की जगह, ठेके पर दे दिया है। दुकानदारों के अनुसार ठेकेदार ने उनसे नपा द्वारा निर्धारित रेटों के पांच गुना पैसे की मांग की, जिसका उन्होंने विरोध किया तो वह उन्हें प्रशासनिक मदद से मेले से हटाना चाह रहा है। जबकि नपा की टेंडर शर्तों के अनुसार उन्हें मेले में प्राथमिकता प्रदान की जानी है और वहीं दुकान आवंटित की जाती है।
जहां पर वह पिछले सालों में अपनी दुकानें लगाते रहे हैं। वहीं झूले वालों से उनके निर्धारित रेट से दस गुना रेट मांगने का आरोप है। दुकानदारों ने जब मेले से हटने से मना कर दिया तो नगर पालिका ने सोमवार को बैक डेट का नोटिस झूले वाले के नाम मेले में जाकर चस्पा कर दिया है।
यह लिखा हैं नोटिस में:अतिक्रमण कर लिया गया हैं
उक्त नोटिस में उल्लेख है कि आपके द्वारा सिद्धेश्वर मंदिर मेला ग्राउंड पर झूले लगाकर अतिक्रमण कर लिया गया है। मेला ग्राउंड पर इस वर्ष मेला आयोजन हेतु नगर पालिका परिषद शिवपुरी द्वारा ठेका विज्ञप्ति जारी की गई थी। जिसमें उच्चतम बोली दाता फर्म को मेला आयोजन की जिम्मेदारी जाएगी, किंतु आपके द्वारा बिना वैधानिक स्वीकृति के मेला ग्राउंड पर झूले लगाकर मेला आयोजन में व्यवधान उत्पन्न करने का प्रयास किया है।
ऐसी दशा में क्यों न आपके विरूद्ध शासकीय कार्य में बाधा उत्पन्न करने के लिए पुलिस प्राथमिकी दर्ज कराते हुए झूले की सामग्री जब्त कर हर्जा खर्चा की वसूली आप से की जाए। इस संबंध में आप अपना जवाब 24 घंटे में में लिखित में दें अन्यथा की दशा में आपके खिलाफ वैधानिक कार्रवाई की जाएगी। वहीं दूसरी ओर मेला में आए दुकानदारों का कहना है कि वह शर्तों के उल्लंघन के मामले को लेकर कोर्ट में याचिका दायर करने जा रहे हैं। ऐसे में आशंका है कि कहीं मेला विवाद की भेंट न चढ़ जाए।