शिवपुरी।आध्यात्मिक ऊर्जा और सामाजिक सौहार्द का अद्भुत संगम देखने को मिला जब शिवपुरी के जोशी ब्राह्मण समाज ने काली माता मंदिर परिसर में एक भव्य सुंदरकांड पाठ और विशाल भंडारे का सफल आयोजन किया। यह आयोजन न केवल धार्मिक अनुष्ठानों की पूर्ति का प्रतीक था, बल्कि इसने समाज के सदस्यों के बीच एकता और भाईचारे की भावना को भी सुदृढ़ किया।
कार्यक्रम का शुभारंभ सुबह शुभ मुहूर्त में सुंदरकांड पाठ के साथ हुआ। मंत्रोच्चार और हनुमान चालीसा के पाठ से पूरा वातावरण भक्तिमय हो गया। बड़ी संख्या में समाज के पुरुष, महिलाएं और बच्चे इस पाठ में शामिल हुए, जिन्होंने हनुमान जी की महिमा का गुणगान किया और उनके आशीर्वाद की कामना की। पाठ के दौरान उपस्थित श्रद्धालुओं ने पूरी श्रद्धा और भक्ति के साथ अपनी सहभागिता दर्ज कराई, जिससे मंदिर परिसर में एक सकारात्मक और दिव्य ऊर्जा का संचार हुआ।
सुंदरकांड पाठ की समाप्ति के उपरांत, विशाल भंडारे का आयोजन किया गया। मंदिर प्रांगण में पंक्तिबद्ध होकर भक्तों ने प्रसाद ग्रहण किया। भंडारे में पूड़ी, सब्जी, हलवा और अन्य पारंपरिक व्यंजनों का वितरण किया गया, जिसे समाज के सदस्यों और स्वयंसेवकों ने बड़े ही प्रेम और निष्ठा के साथ परोसा। दूर-दराज से आए श्रद्धालुओं और स्थानीय निवासियों ने भी इस भंडारे में शामिल होकर प्रसाद का लाभ उठाया।
इस पूरे आयोजन को सफल बनाने में जोशी ब्राह्मण समाज के प्रमुख सदस्यों का महत्वपूर्ण योगदान रहा। राधा बल्लभ जोशी, देवी चरण जोशी, हरि बल्लभ जोशी, दीनानाथ जोशी, मनोज जोशी, धर्मेंद्र जोशी, भूपेंद्र पचौरी और नितिन जोशी ने विशेष रूप से सक्रिय भूमिका निभाई। इन सभी ने मिलकर कार्यक्रम की योजना बनाने से लेकर उसके क्रियान्वयन तक हर चरण में अपनी अग्रणी भूमिका सुनिश्चित की। समाज के अन्य सदस्य भी तैयारियों में जुटे रहे, जिससे पूरा आयोजन सुचारू रूप से संपन्न हो सका।
यह आयोजन शिवपुरी के जोशी ब्राह्मण समाज की धार्मिक निष्ठा और सामाजिक प्रतिबद्धता का परिचायक है। ऐसे कार्यक्रम न केवल सांस्कृतिक विरासत को संरक्षित करते हैं, बल्कि नई पीढ़ी को भी अपनी जड़ों से जुड़ने और सामुदायिक भावना को समझने के लिए प्रेरित करते हैं। समाज ने भविष्य में भी इस तरह के धार्मिक और सामाजिक आयोजनों को जारी रखने का संकल्प लिया है।